शिवशंकर व्यास का बहोत बड़ा योगदान शामलाजी की पुनः प्रतिष्ठामे रहा है। इसमें योगेन्द्र मफत्लाल्जी का बड़ा सेवक काम था। गौरीशंकर व्यास और शिवशंकर મિત્ર भाई थे। और बोलुन्द्र के ब्रह्मिन बड़े प्रसिध्ध थे .
शिव शंकरजी हर एकादशी को शामलाजी चलते जाते थे.साथ बच्चो को भी ले जाते थे और कई भजन की रचना इन्होने इसी दोरान की है । उसमे परमेश का भजन उनका बड़ा प्रसिध्ध रहा है।
बोलूूंदारा से आज तो वाहन मिल जाते है ।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें